जिला मुख्यालय मोहला के बांधपारा स्थित ऐतिहासिक टारबांध को अब नया जीवन मिलेगा। कलेक्टर तुलिका प्रजापति ने जल संसाधन विभाग द्वारा प्रस्तावित जीर्णोद्धार कार्य के लिए 50 लाख 43 हजार रुपये की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की है। यह राशि जिला खनिज न्यास निधि (DMF फंड) से स्वीकृत की गई है।
टारबांध मोहला क्षेत्र के लिए न सिर्फ पेयजल का प्रमुख स्रोत है, बल्कि यह जल संरक्षण और कृषि कार्यों में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। विगत वर्षों से इस बांध की स्थिति जर्जर हो गई थी, जिससे इसकी जल संग्रहण क्षमता में भारी गिरावट आई थी। स्थानीय नागरिकों की लंबे समय से मांग रही थी कि टारबांध का संरक्षण और पुनर्निर्माण कार्य कराया जाए।
कलेक्टर तुलिका प्रजापति ने इस मांग को गंभीरता से लेते हुए स्वयं बांध स्थल का निरीक्षण किया और जल संसाधन विभाग के अधिकारियों के साथ जीर्णोद्धार कार्य की रूपरेखा पर चर्चा की। उन्होंने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि सभी कार्य बारिश से पूर्व पूर्ण कर लिए जाएं, ताकि आगामी वर्षा काल में अधिकतम जल संग्रहण संभव हो सके।
जीर्णोद्धार कार्य के अंतर्गत बांध की दीवारों का सुदृढ़ीकरण, जल निकासी व्यवस्था का सुधार, सिल्ट हटाना और आसपास के क्षेत्र का सौंदर्यीकरण जैसे महत्वपूर्ण कार्य किए जाएंगे। इससे जहां एक ओर मोहला नगरवासियों को स्थायी जल स्रोत की सुविधा मिलेगी, वहीं दूसरी ओर पर्यटन की दृष्टि से भी यह स्थल आकर्षण का केंद्र बन सकेगा।
कलेक्टर ने कहा कि "जल ही जीवन है" और जल संरक्षण के लिए किये जा रहे प्रयासों में टारबांध का पुनरुद्धार एक अहम कड़ी साबित होगा। मोहला क्षेत्रवासियों ने कलेक्टर के इस निर्णय का स्वागत करते हुए उन्हें संवेदनशील कलेक्टर से संबोधित कर रहे हैं।
यह कार्य स्थानीय लोगों की जल समस्या के समाधान, कृषि क्षेत्र को संबल और मोहला के विकास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा।
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