NBPNEWS/18 दिसंबर/मोहला मानपुर। बाबा गुरु घासीदास जयंती के अवसर पर जिला मुख्यालय मोहला में सतनामी समाज ने नगर के वार्ड क्रमांक 1 स्थित सतनाम भवन प्रांगण में गुरु पर्व समारोह हर्षोल्लास से मनाया। समारोह की शुरुआत गुरु गद्दी व जैतखाम की पूजा-अर्चना से हुई। इसके बाद पंथी नृत्य और सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया, जिसमें समाज के लोगों ने उत्साहपूर्वक हिस्सा लिया। समाज प्रमुखों ने जैतखाम की पूजा कर नगर की समृद्धि और खुशहाली की कामना की।
शाम को सतनाम समाज द्वारा नगर में शोभा यात्रा निकाली गई, जिसमें पंथी नृत्य करते हुए समाज के लोग नगर भ्रमण पर निकले। शोभा यात्रा के दौरान सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने के लिए स्थानीय पुलिस तैनात रही।
### **गुरु घासीदास का जीवन परिचय**
बाबा गुरु घासीदास का जन्म 18 दिसंबर 1756 को छत्तीसगढ़ के रायपुर जिले के गिरौद गांव में हुआ। उनके पिता का नाम महंगू दास और माता का नाम अमरौतिन था। उनका जन्म ऐसे समय में हुआ, जब समाज में ऊंच-नीच, छुआछूत, और झूठ-कपट का बोलबाला था।
गुरु घासीदास ने अपने जीवन से समाज को सात्विक और सत्यनिष्ठ जीवन जीने की प्रेरणा दी। सत्य के प्रति उनकी अटूट आस्था के कारण उन्होंने बचपन से ही कई चमत्कार दिखाए, जिससे समाज पर गहरा प्रभाव पड़ा। बाबा गुरु घासीदास ने समाज में एकता, भाईचारे और समरसता का संदेश दिया।
उन्होंने न केवल सत्य की आराधना की, बल्कि समाज में नई चेतना जागृत करने का महत्वपूर्ण कार्य भी किया। उनके उपदेशों और आदर्शों ने सतनाम समाज को एक नई दिशा दी।
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